चारधाम यात्रा में रील बनाने वालों पर प्रतिबंध
उत्तराखंड में चारधाम यात्रा के दौरान 50 मीटर के दायरे में रील बनाने पर प्रतिबंध है, लेकिन इसके बावजूद लोग रील बना रहे हैं और सरकारी आदेशों की अवहेलना कर रहे हैं। डीजीपी की सख्ती के बाद अब उत्तराखंड पुलिस रील बनाने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई कर रही है। रील बनाने वालों के मोबाइल फोन लेकर उनकी रील डिलीट कर दी जाती है और उन पर जुर्माना भी लगाया जाता है। गढ़वाल आईजी करण सिंह नगन्याल ने बताया कि अब तक चमोली जिले में 70 लोगों के खिलाफ कार्रवाई की गई है। इसी तरह केदारनाथ मार्ग पर 66 लोगों के खिलाफ केस दर्ज किए गए हैं।
चारधाम यात्रा
चारधाम यात्रा 10 मई से शुरू हो गई है। यात्रियों के लिए ऑनलाइन और ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन की सुविधा दी गई है। हालांकि, बढ़ती भीड़ के चलते फर्जी रजिस्ट्रेशन के मामले भी सामने आ रहे हैं। आईजी गढ़वाल ने बताया कि कुछ तत्व एप को एडिट करके फर्जी रजिस्ट्रेशन कर रहे हैं। अब तक हरिद्वार, उत्तरकाशी और रुद्रप्रयाग में फर्जी रजिस्ट्रेशन के 45 मामले दर्ज किए जा चुके हैं।
भीषण गर्मी में भी उमड़ रही है भीड़
भीषण गर्मी में भी उत्तराखंड की ओर आस्था का सैलाब लगातार उमड़ रहा है। केदारनाथ में सबसे ज्यादा 4,67,908 श्रद्धालु पहुंचे, जो इस धाम की लोकप्रियता को दर्शाता है। बद्रीनाथ धाम में भी अब तक बड़ी संख्या में श्रद्धालु आ चुके हैं, जहां 24 मई के आंकड़ों के अनुसार कुल 2,40,259 तीर्थयात्री दर्शन कर चुके हैं। यमुनोत्री और गंगोत्री धाम में भी भारी भीड़ देखी गई, जहां 1,97,494 और 1,88,993 तीर्थयात्री पहुंचे। शबद कीर्तन और पहली अरदास के साथ हेमकुंड साहिब के कपाट खुल गए। पहले दिन 5,785 श्रद्धालुओं ने हेमकुंड साहिब के दर्शन भी किए। हाल ही में मुख्यमंत्री पुष्कर धामी के आदेश के बाद यात्रियों पर कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए थे और अत्यधिक यात्रियों को नियंत्रित करने के लिए पंजीकरण की सख्त जांच की गई थी। जिससे अब यह पता चल रहा है कि राज्य ही नहीं बल्कि राज्य के बाहर से भी भोले-भाले श्रद्धालुओं को दर्शन के नाम पर ठगा जा रहा है।
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